फरार व्यापारी विजय माल्या ने कर्नाटका हाई कोर्ट में बैंकों द्वारा ऋण पुनर्प्राप्ति प्रक्रिया पर स्पष्टता मांगी है। माल्या का कहना है कि ₹6,200 करोड़ का ऋण बकाया था, लेकिन बैंकों ने ₹14,000 करोड़ पहले ही रिकवर कर लिया है। उनका यह आरोप है कि बैंकों ने पूरी राशि वसूल करने के बावजूद अभी भी कर्ज़ की वसूली की प्रक्रिया जारी रखी है, जिससे वह परेशान हैं और इसके खिलाफ कानूनी कदम उठाने का निर्णय लिया है।
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विजय माल्या का दावा – ₹14,000 करोड़ का पुनर्प्राप्ति
माल्या के वकील, वरिष्ठ अधिवक्ता साजन पूवैया ने बुधवार को दावा किया कि बैंकों ने पहले ही ₹14,000 करोड़ की वसूली की है, जो ₹6,200 करोड़ के ऋण से कहीं अधिक है। उनका यह भी कहना है कि अगर बैंकों ने यह राशि पूरी तरह से वसूल कर ली है, तो फिर ऋण पुनर्प्राप्ति की प्रक्रिया क्यों जारी रखी जा रही है। माल्या ने अदालत से आग्रह किया है कि बैंकों को उनके द्वारा वसूली गई पूरी राशि का विवरण देने का आदेश दिया जाए।
कर्नाटका हाई कोर्ट का नोटिस
कर्नाटका हाई कोर्ट ने माल्या की याचिका पर संज्ञान लेते हुए बैंकों और ऋण वसूली अधिकारियों को नोटिस जारी किया है। अदालत ने बैंकों से यह भी कहा है कि वे माल्या और अन्य संबंधित कंपनियों जैसे यूनाइटेड ब्रूवरीज होल्डिंग्स लिमिटेड के खिलाफ बकाया रकम का पूरा विवरण पेश करें। कोर्ट ने इस मुद्दे पर कार्रवाई के लिए अगली सुनवाई की तारीख तय की है।
विजय माल्या का लंदन में रहना और प्रत्यर्पण प्रयास
विजय माल्या, जो वर्तमान में लंदन में रह रहे हैं, भारत सरकार द्वारा ऋण डिफॉल्ट के मामले में उनकी प्रत्यर्पण की कोशिशों का सामना कर रहे हैं। भारत में बैंकों के ₹6,200 करोड़ के ऋण डिफॉल्ट मामले में वह अभियुक्त हैं। 2024 में विजय माल्या ने दावा किया था कि बैंकों ने ₹14,131.60 करोड़ की वसूली की है, जो ₹6,203 करोड़ के ऋण के मुकाबले बहुत अधिक है। उनका कहना था कि उन्हें “आर्थिक अपराधी” के रूप में दर्ज किया गया है, जबकि कर्ज़ की राशि से कहीं ज्यादा वसूला गया है।
ऋण वसूली का मुद्दा और विजय माल्या की मांग
विजय माल्या का कहना है कि अगर बैंकों और प्रवर्तन निदेशालय (ED) यह साबित नहीं कर सकते कि उन्होंने कर्ज से दो गुना अधिक वसूला है, तो वह राहत के हकदार हैं, जिसे वह कानूनी रूप से प्राप्त करने का प्रयास करेंगे। उनका कहना है कि उन्हें कानूनी रूप से यह जानकारी प्राप्त करनी चाहिए कि बैंकों और ED ने अधिक वसूली क्यों की है।
वित्त मंत्री ने माल्या की वसूली का उल्लेख किया
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 2024 में एक बयान में कहा था कि प्रवर्तन निदेशालय ने कई प्रमुख आर्थिक अपराधों में शामिल व्यक्तियों की संपत्तियां जब्त की हैं। माल्या से ₹14,131.60 करोड़ की संपत्ति वसूल की गई है, जिसे अब सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों को लौटाया गया है।
विजय माल्या का कहना है कि बैंकों और ED को यह साबित करना होगा कि उनके द्वारा ₹6,203 करोड़ के ऋण से अधिक की वसूली कानूनी रूप से उचित है। कर्नाटका हाई कोर्ट इस मामले में अगले कदम के लिए बैंकों से विवरण की मांग कर रहा है, और यह मामला अब अदालत की निगरानी में है। माल्या को इस मुद्दे पर न्याय की उम्मीद है और वह अपने अधिकारों के लिए कानूनी लड़ाई जारी रखने के लिए तैयार हैं।